अगर मुझे गणित पर अपने अनुभव के वर्णन करने को कहा जाय तो शायद मैं कहूं की यह एक अंधेरे कमरे में प्रवेश करने की तरह है, पहला कमरा... अंधकारमय, बिल्कुल अंधकारमय. इधर-उधर भटकना, उछलना और फिर धीरे-धीरे पता चलने लगता है की कहाँ कौन सा फर्नीचर है. और फिर अंततः ६ महीने या ऐसे ही कुछ समय पश्चात पता चलता है की स्विच किधर है, उसे दबा देना और फिर सबकुछ जगमगा उठता है... तब सब कुछ दिखने लगता है और ये पता चलता है कि मैं कहाँ हूँ ! -- एंड्र्यू वाइल्स बीबीसी की एक डॉक्युमेंट्री के प्रारम्भ में.
हर चार साल पर दिया जाने वाला फील्ड्स मेडल गणित के क्षेत्र का नोबेल पुरस्कार कहा जाता है. तो फिर एंड्र्यू वाइल्स को निर्विवाद रूप से मिल जाना चाहिए. पर फील्ड्स मेडल में एक शर्त होती है की पुरस्कार मिलने वाले साल तक गणितज्ञ की आयु ४० से ज्यादा नहीं होनी चाहिए ! एंड्र्यू वाइल्स का जन्म १९५३ में हुआ था और उस हिसाब से १९९४ में वो एक साल ज्यादा के हो गए थे. नियम तो फिर नियम ही है तो उन्हें ये पुरस्कार नहीं दिया गया*. पर फील्ड्स मेडल की समिति ने उन्हें पुरस्कृत करना ही उचित समझा और १९९८ में उन्हें अलग से एक विशेष रजत-फलक दिया गया. फील्ड्स मेडल पर महान गणितज्ञ आर्कीमिडिस की तस्वीर होती है. ४० साल से कम क्यों? इसकी एक आम धारणा ये है की गणितज्ञ अपनी मौलिक सोच (Original ideas) ४० के पहले ही सोचते हैं इसके बाद वो गणित पर बस काम करते हैं खोज तो कम उम्र में ही होती है. इस चालीस साल की बात से याद आया जी एच हार्डी की ये बात जो उन्होंने अपनी पुस्तक 'A Mathematician's Apology' में लिखी है.**
"किसी भी गणितज्ञ को ये नहीं भूलना चाहिए की गणित युवा लोगों का खेल है. इसका सबसे आसान उदहारण यही है की रोयल सोसाइटी में गणितज्ञों की औसत उम्र सबसे कम है. और भी कई उदहारण लिए जा सकते हैं न्यूटन ने ५० की उम्र में गणित छोड़ दिया. वे मानते थे की ४० वर्ष की उम्र के साथ ही उनकी मौलिक रचनात्मकता के महानतम दिन ख़त्म हो गए...
...गैल्वास की मृत्यु २१ साल की उम्र में हो गई. रामानुजन ३३ में और रीमान ४० की उम्र में चल बसे. कुछ लोगों ने इस उम्र के बाद भी काम किया है जैसे की गॉस ने डिफेरेंसिअल जियोमेट्री तब लिखी जब वो ५० साल के थे, लेकिन इसका विचार उन्हें १० साल पहले ही आ गया था. मेरी नज़र में कोई बड़ी गणितीय खोज ४० की उम्र के बाद किसी ने नहीं की. और अगर किसी की इस उम्र के बाद गणित गणित में रूचि कम हो जाती है तो इससे न तो उसकी न गणित की ही कोई क्षति होने वाली है." --जी एच हार्डी
कई गणितज्ञों ने फ़र्मैट के अन्तिम प्रमेय पर काम किया ये तो हम देख ही चुके है पर अगर इस महिला गणितज्ञ की चर्चा न हो तो शायद श्रृंखला अधूरी रह जाय. पोस्ट लम्बी हो रही है इसलिए आगे नहीं लिखूंगा बस इतना बताता चलूँ की इस महान गणितज्ञ को महिला होने का खामियाजा भुगतना पड़ा. नहीं तो आज इतिहास में कहीं और ज्यादा नाम होता... फ़र्मैट के अन्तिम प्रमेय पर सही तरीके से सोचने वाले बहुत कम लोगों में वो एक थी. उस संघर्ष, दुःख और गणित से प्यार की कहानी अगले पोस्ट में.
चित्र: साभार, विकिपीडिया
*ऐसे पुरस्कारों के साथ ऐसी कहानियाँ तो होती ही है... शायद नोबेल पुरस्कार की सबसे बड़ी कमी हमेशा के लिए ये रह जाय की गांधीजी को नोबेल पुरस्कार नहीं मिला. गांधीजी ऐसे किसी पुरस्कार के मोहताज तो न थे... पर ये मलाल शायद नोबेल समिति को रहे. इस बारे में अगर रूचि हो तो नोबेल पुरस्कार की आधिकारिक वेबसाइट पर इस लिंक पर पढ़ आए.
**पुस्तक की सॉफ्ट कॉपी पास में होने का यह एक बहुत बड़ा फायदा है... जब जिस पैराग्राफ की जरुरत हो खोल के सर्च कर लो.
फील्ड्स मेडल और आयु सीमा की वजह से वाइल्स को न मिल पाना आदि रोचक जानकारी रही, आभार.
ReplyDeleteपर फील्ड्स मेडल में एक शर्त होती है की पुरस्कार मिलने वाले साल तक गणितज्ञ की आयु ४० से ज्यादा नहीं होनी चाहिए !
ReplyDeleteयह जरूर था कि इस जन्म में हम आगे कुछ करने वाले नहीं थे; पर इस प्रकटन ने जाने क्यों दुखी कर दिया! समय व्यर्थ गंवाने के अहसास दे कर!
पूरा पढ़ गये जी। बिना रुके। काफी अच्छी जानकारी मिली। ...ये बात अलग है कि मेरे लिए थोड़ी गरिष्ट है इसलिए कोई टिप्पणी करने की स्थिति में नहीं हूँ। बस अच्छा लगा।
ReplyDeleteवैसे तो महान बनने की कोई उम्र सीमा नही है लेकिन वो कहते हैं ना की पूत के पाँव पालने में ही दिखाई देने लगते हैं.... महान लोग ३० से ३५ की उम्र में महान बन जाते हैं... अपवाद हर जगह हैं लेकिन बहुतायत ऐसा ही मिलेगा.... उपयोगी जानकारी के लिए अभिषेक बाबू को बधाई
ReplyDeleteचालीस वाला ये नियम क्या गणित की दुनिया के बाहर भी यथावत लागू होता है?
ReplyDeleteगणित से डर लगता है. अभी भी. लेकिन आपकी पोस्ट एक बार में पूरा पढ़ गया. शायद इसलिए कि यहाँ कोई सवाल नहीं हल करने के लिए.
ReplyDeleteमेने भी पुरी पोस्ट पढी,अब कया सवाल करे,फील्ड्स मेडल मे यह शर्त क्यो होती हे कि गणितज्ञ की आयु ४० से ज्यादा क्यो ना हो, क्या उस के बाद उस का ग्याण कम हो जाता हे ??
ReplyDeleteधन्यवाद अच्छी जान कारी देने के लिये
बहुत ही रोचक जानकारी के लिए धन्यवाद.
ReplyDeletejankari ke liye aabhar. jari rhe.
ReplyDeleteफर्मेट के अंतिम प्रमेय पर सही तरीके से सोचनेवाली महिला गणितज्ञ के संघर्ष, दु:ख और गणित से प्यार की बातों का इंतजार है।
ReplyDeleteरोचक जानकारी है। चालीस साल के बाद भले ही कोई नई खोज न कर पाये लेकिन लोगों को नई खोज के लिये प्रेरित तो किया जा सकता है।
ReplyDeleteGANIT KO JIS DHANG SE AAPANE BATAYA HAE KABILE TARIF HAE
ReplyDeleteइसांन के अदंर हर सोच का प्रश्न गणित कहा जाता है
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