Friday, September 19, 2008

सुनहरा अनुपात और चित्रकारी

चित्रकारी की बात हो तो दिमाग में विन्ची का नाम शायद सबसे पहले दो-तीन नामों में से आ जाय और अगर मोनालिसा का नाम इसमें सबसे पहले आए तो कोई आश्चर्य नहीं होना चाहिए। विन्ची की कलाकृतियों में तो हजारों चीज़ें ढूंढ़ ली जाती हैं तो फिर सुनहरा अनुपात ढूँढना कौन सी बड़ी बात है। वर्चुवियन मैन में इस अनुपात की उपस्थिति तो हम देख ही चुके हैं... आज कुछ और चित्रों पर गौर करें: (भला हो इन्टरनेट का सारे चित्र सर्च किए हुए हैं)।

अब अगर लियोनार्दो दा विन्ची के सहयोगी लुका पसिओली (Luca Pacioli)

ने अगर कह दिया 'बिना गणित के कोई कला नहीं' तो क्या ग़लत कहा ! लियोनार्दो के अलावा भी हजारों पेंटिंग में ये अनुपात देखने को मिलता है। अब ये पेंटिंग देखिये कैसे फिट बैठ जाती है सुनहरे आयत में. विन्ची की 'लास्ट सपर' तो आपने सुनी ही होगी... इसके तो छोटे-छोटे हिस्से को मैग्निफाई करके देखने पर भी ये अनुपात मिल जाता है। पूरे चित्र का वर्गीकरण ही देख लीजिये।

शरीर के विभिन्न हिस्सों के अनुपात के रूम में देखा जाना भी शायद एक कारण रहा की चित्रकारों ने इसी अनुपात में पेंटिंग के चरित्रों की बनाया। अब माइकल एंजेलो की प्रसिद्द मूर्ति डेविड को देख लेते हैं: कमाल की बात ये है की डेविड के ये अनुपात विन्ची के वर्चुवियन मैन से एकदम मिलते हैं। वर्चुवियन मैन और आदर्श मानव चेहरे आप पिछली एक पोस्ट में यहाँ देख सकते हैं।

अब नए जमाने में एंड्र्यू रोजेर्स की ये कलाकृति भी देख लीजिये इसका नाम ही 'सुनहरा अनुपात' है, पत्थर और सोने से बनी ये कलाकृति जेरुसलम में स्थित है जो फिबोनाच्ची क्रम पर आधारित है। (एंड्र्यू रोजर्स बड़ी रोचक कलाकृतियाँ बनाते रहे हैं, आप उनके लिंक पर जाकर देख सकते हैं।)
अगले पोस्ट में कुछ स्थापत्य कला के नमूने देखते हैं... अब स्थापत्य कला हो और सुनहरा अनुपात तो पिरामिड भी आना ही चाहिए !

~Abhishek Ojha~

16 comments:

  1. बहुत रोचक पोस्ट है और दिलचस्प जानकारॊ. आगे इन्तजार है, आभार.

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  2. अनुपात जानने से काश हम भी पेंटिंग बना पाते। :)

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  3. मुझे यह अनुपात नैसर्गिक लगता है। यहाँ पहुँचने का रास्ता भी दुतरफा है। बिना गणित को जाने भी लोग कला के अभ्यास से इस अनुपात को पा लेते हैं। उन का मस्तिष्क और हाथ इस का अभ्यासी हो जाते हैं। जैसे हमारी उंगलियां टाइप करने वाली कुंजियों की हो जाती है।
    अनूप जी इस के अभ्यासी हैं, वे जब कविता या गद्य लिखते हैं तो यह अनुपात स्वतः ही आ जाता है। वे कोशिश करें तो पेंटिंग में भी आ जाएगा। करें तो?

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  4. यहाँ तो बड़ा मजेदार विषय चल रहा है जी। अपनी ब्लॉगरी में नये प्रयोगों के चक्कर में यह छूटा ही जा रहा था। ...आज ही पिछली तीनो पोस्टें पढ़ डाली मैने। वाह मजा आ गया।

    यह बताइये कि कम्प्यूटर के ‘पेण्ट’ में जाकर सुनहरे अनुपात का आयत बनाने के लिए हमें क्या करना होगा?

    ...सोचता हूँ आगे से सभी चित्रकारी इसी अनुपात में करूँ। विन्ची साहब से कहीँ तो बराबरी हो जाएगी:)

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  5. "wow, this is something very interetsing to know"

    Regards

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  6. बाई जोव! मैं पिकासो के एक रेखांकन की नकल करने का प्रयास कर रहा था - काफी पहले की बात है। और मुझे लगा था कि सारा खेल आड़ी तिरछी खींचने का नहीं, एक सधे अनुपात का है!
    वही आप भी कह रहे हैं!

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  7. रोचक लगा इस नजरिये से यह सब जानना ...शुक्रिया

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  8. very very interesting jaankari...ekdam alag hat kar...bahut achha laga..

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  9. Abhishek ji bhut achhi jankari di hai aapne.

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  10. ये तो मुझे पता था की चित्र बनाने में मैथ्स एप्लाई होता है लेकिन आपने बाकायदा रेखांकन करके बताया....बहुत अच्छा लगा!

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  11. अभिषेक ...गणित ओर चित्रकारी का अदभूत संयोग .पहली बार पढ़ा...

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  12. 'द वि‍न्‍ची कोड' फि‍ल्‍म में इन तस्‍वीरों को देखकर उनके काल्‍पनि‍क आयाम से परि‍चि‍त हुआ था, आज उसके गणि‍तीय अनुपात से। कभी स्‍केच बनाने की प्रक्रि‍या में भी हमें यह गणि‍तीय अनुपात समझाया जाता था, (और समझ गया होता तो चि‍त्रकार बन गया होता)पर आपने यहॉं काफी उम्‍दा उदाहरण पेश कि‍ए। समझ गया कि‍ अब चि‍त्रकारी का ख्‍याल मन में ही दफन कर देना चाहि‍ए।

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  13. मेथ्स का ये ऐन्गल बहुत रोचक लगा :)
    - लावण्या

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  14. आपका कहना बिलकुल सही है। अनुपात का ध्‍यान रखे बिना चित्र, मूर्ति अथवा स्‍थापत्‍य का निर्माण संभव नहीं। गणित के संदर्भ में मोनालिसा, लास्‍ट सपर व डेविड जैसी अमर कलाकृतियों की चर्चा बहुत अच्‍छी लगी।

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  15. धन्यवाद ऎक बहुत ही अच्छी जानकारी के लिये, आप ने हमारे सालो के सोये दिमाग को फ़िर से सोचने पर लगा दिया.

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  16. बेहतरीन कमाल का लेख और मौलिक सोच के लिए बधाई अभिषेक .......
    शुभकामनायें

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